jameel saqlaini 7 posts Sort by: Latest Likes Views List Grid jameel saqlaini 1 Aug 2016 · 1 min read एक शेर जब खराबी आ गई किरदार में" फिर बुलंदी आए क्या मेयार में। Hindi · शेर 246 Share jameel saqlaini 22 Jul 2016 · 1 min read है चादर जिनके सर पे मुफलिसी' की। है चादर जिनके सर पे मुफलिसी' की" घड़ी भारी है उनको ज़िन्दगी' की" मिलेगी ज़िन्दगानी उन पे मर के" सबब ये है जो मैं ने खुदक़ुशी' की। हैं दुशमन वो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 227 Share jameel saqlaini 20 Jul 2016 · 1 min read मैं सोंचता हूँ दर्द तबस्सुम में लू छुपा। आते रहे युहीं जो खयालात' कुछ न कुछ" लिक्खेंगे फिर तो हम भी ग़ज़लयात'कुछ न कुछ" मैं सोंचता हूँ दर्द तबस्सुम में लूं छुपा" आँखों से बहने लगते हैं जज़बात... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 3 205 Share jameel saqlaini 19 Jul 2016 · 1 min read सितम ये वक़्त ने ढाया' तो आँख भर आई। सितम ये वक़्त ने ढाया' तो आँख भर आई" हुआ जो अपना पराया' तो आँख भर आई। वो जिसके क़दमों में हमने गुलाब रक्खे थे" उसी ने काँटा चुभाया' तो... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 6 260 Share jameel saqlaini 18 Jul 2016 · 1 min read था खौफ ए दुनियां तो ख्वाबों में रबता करते था खौफ ए दुनियां तो खुवाबों में राब्ता'करते" मेरे वजूद से खुद को यूँ आशना' करते। जो अपनी ज़ुल्फों का तुम साया कर दिया'करते" उबूर आग का हम दरिया कर... Hindi · ग़ज़ल/गीतिका 6 511 Share jameel saqlaini 17 Jul 2016 · 1 min read क़िता क़िता •••••••••••••••••••••••••••••• मुझपे इतना फक़त करम' करदे। दूर तनहाई के अलम' कर दे दस्तखत अपने प्यार का जानां' दिल के औराक़ पर रक़म' कर दे। •••••••••••••••••••••••••••••••• Jameel Saqlaini Ujhanvi Hindi · मुक्तक 3 299 Share jameel saqlaini 16 Jul 2016 · 1 min read ग़ज़ल मुख्तसर से ही सही पर फासले' रह जाएंगे " गर मिजाज़ों में अना के वसवसे' रह जाएंगे। इश्क़ जिस दिन पहुंचेगा यारो जुनूं की हद के पार" बोलने वालों के... Hindi · कविता 6 279 Share